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क्या प्रेगनेंसी में फूलगोभी (Cauliflower) खा सकते हैं? | Pregnancy Me Gobhi Khana Chahiye Ki Nahi

गर्भावस्था में भोजन से मिलने वाले विभिन्न प्रकार के विटामिन और खनिज भ्रूण की वृद्धि में अहम योगदान देते हैं। ऐसे में खाने की आदतों का सीधा असर गर्भस्थ शिशु के स्वास्थ्य और विकास पर पड़ता है। इसलिए, रोजाना खाने वाली चीजें पौष्टिक हैं या नहीं और वो गर्भावस्था में फायदेमंद होती हैं या नहीं, यह जानना जरूरी हो जाता है।मॉमजंक्शनके इस लेख में हम बात करेंगे फूलगोभी की। इस लेख में हम यह जानने का प्रयास करेंगे कि गर्भावस्था में फूलगोभी का सेवन किया जा सकता है या नहीं। साथ ही इससे होने वाले फायदों व नुकसान पर भी चर्चा करेंगे।

चलिए, सबसे पहले यह जान लेते हैं कि गर्भावस्था में फूलगोभी का सेवन सुरक्षित है या नहीं।

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क्या गर्भावस्था के दौरान फूलगोभी का सेवन करना सुरक्षित है? | Pregnancy Me Gobhi Khana Chahiye

गर्भावस्थाजैसेनाजुकदौरसेगुजरतेसमयजहनमेंयेसवाल आना लाजमी है कि फूलगोभी का सेवन करना सही रहेगा या नहीं। वैसे इसमें मौजूद पोषक तत्वों को ध्यान में रखते हुए इसे सुरक्षित कहा जा सकता है(1)। दरअसल, गर्भावस्था में फोलेट, कैल्शियम व विटामिन-सी जैसे पोषक तत्वों की जरूरत होती है और ये सब फूलगोभी में मौजूद होते हैं(2)(3)। इसे प्रेगनेंसी का औसत आहार भी कहा जाता है(4)(5)

बेशक, गर्भावस्था में फूलगोभी सुरक्षित है, लेकिन सीमित मात्रा में। आगे लेख में हम इसी बारे में बात करेंगे।

गर्भावस्था में कितनी मात्रा में फूलगोभी खाना सुरक्षित है?

गर्भावस्था में जरूरी पोषक तत्वों को अपने आहार में शामिल करने के लिए फूलगोभी जरूरी है। साथ ही गर्भावस्था जैसे नाजुक समय में कितनी फूलगोभी का सेवन करना चाहिए, यह जानना भी जरूरी है। फोलेट और विटामिन-सी जैसे पोषक तत्व की पूर्ति के लिए आधे से एक कप फूलगोभी को गर्भवती महिला अपने आहार में शामिल कर सकती है(4)(6)। इस वैज्ञानिक प्रमाण के बावजूद हम यही सलाह देंगे कि आप इसकी मात्रा के बारे में आहार विशेषज्ञ से जरूर पूछें, क्योंकि गर्भावस्था में सभी का स्वास्थ्य अलग-अलग होता है।

आगे हम गर्भावस्था में फूलगोभी खाने के सही समय के बारे में बता रहे हैं।

गर्भावस्था में फूलगोभी खाने का सबसे अच्छा समय कब है?

गर्भावस्था में फूलगोभी खाना फायदेमंद होता है, यह तो आप जान ही चुके हैं, लेकिन इसे खाने का सबसे अच्छा समय पहली तिमाही को माना जाता है। दरअसल, फूलगोभी फोलेट से भरपूर होने के कारण न्यूरल बर्थ डिफेक्ट (मस्तिष्क व रीढ़ की हड्डी से संबंधित जन्म दोष) से बचाने में मदद कर सकता है, जिसकेगर्भ धारण करने के पहलेहफ्तों में ही होने की आशंका रहती है(7)। साथ ही फूलगोभी में विटामिन-सी भी होता है, जो पहली तिमाही में फायदेमंद माना जाता है(8)। इसलिए, माना जाता है कि फूलगोभी का सेवन पहली तिमाही में ज्यादा लाभदायक हो सकता है। वैसे इस सब्जी में मौजूद पोषक तत्वों को देखते हुए इसे सीमित मात्रा में पूरे गर्भावस्था के दौरान आहार में शामिल किया जा सकता है, क्योंकि पूरी गर्भावस्था में सब्जियों के सेवन की सलाह दी जाती है(9)

लेख में अब हम फूलगोभी में मौजूद पोषक तत्वों और मूल्यों के बारे में बता रहे हैं।

फूलगोभी के पोषक तत्व

फूलगोभी का सेवन कई मायनों में सेहत के लिए फायदेमंद हो सकता है, क्योंकि इसमें कई पोषक तत्व मौजूद होते हैं। इन पोषक तत्वों में प्रति 100 ग्राम कितना मूल्य होता है, आइए डालते हैं एक नजर(3)

पोषक तत्व मात्रा
पानी 92.07g
कैलोरी 25kcal
प्रोटीन 1.92g
फाइबर 2g
शुगर 1.91g
कार्बोहाइड्रेट 4.97g
कैल्शियम 22mg
मैग्नीशियम 15mg
फास्फोरस 44毫克
विटामिन सी 48.2mg
आयरन 0.42mg
पोटैशियम 299mg
सोडियम 30mg
फोलेट 57µg
कोलीन 44.3mg

फूलगोभी के पोषक तत्व जानने के बाद चलिए अब बात करते हैं गर्भावस्था में फूलगोभी के फायदे के बारे में।

गर्भावस्था के दौरान फूलगोभी के स्वास्थ्य लाभ

गर्भावस्था में फूलगोभी खाने के कई फायदे हो सकते हैं। इन्हीं फायदों के बारे में हम नीचे विस्तार से बता रहे हैं।

  • बर्थ डिफेक्ट से बचाए:फूलगोभी में फोलेट की भरपूर मात्रा पाई जाती है। यह पोषक तत्व बर्थ डिफेक्ट से बचाने में अहम भूमिका निभाता है। दरअसल, गर्भावस्था के पहले हफ्ते में मस्तिष्क और रीढ़ की हड्डी से संबंधित बर्थ डिफेक्ट होने का खतरा अधिक होता है, जिसे फोलिक एसिड कम करने में मदद कर सकता है(7)
  • कब्ज और बवासीर से बचाए:गर्भावस्था में अक्सर महिलाओं को कब्ज की समस्या से गुजरना पड़ता है। साथ ही कब्ज की वजह से कई बार प्रेगनेंसी में बवासीर भी हो जाती है। इन दोनों समस्या से निपटने में फूलगोभी मदद कर सकती है। दरअसल, इसमें भरपूर मात्रा में फाइबर पाया जाता है, जो दोनों समस्या से राहत दिलाने में मदद कर सकता है(10)
  • हड्डियोंकेलिए:फूलगोभी में गर्भावस्था में जरूरी माने जाने वाले कैल्शियम की मात्रा भी पाई जाती है। यह गर्भवतियों और विकासशील भ्रूण दोनों के लिए जरूरी होता है। कैल्शियम हड्डियों के निर्माण के लिए महत्वपूर्ण भूमिका निभाने के साथ ही संचार प्रणाली और मांसपेशियों के कार्य के लिए आवश्यक होता है। यह भ्रूण के दांतों के निर्माण में भी मदद करता है(11)
  • भ्रूण के विकास लिए:गर्भावस्था में फूलगोभी खाने से भ्रूण के विकास में भी मदद मिल सकती है। इसमें, मौजूद कोलीन षोषक तत्व को दिमाग का विकास करने के साथ ही संपूर्ण विकास के लिए भी अच्छा माना जाता है(3)(12)
  • बीमारियों से बचाए:फूलगोभी में मौजूद कोलीन की कमी से लिवर, हृदय और मांसपेशियों संबंधित परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है। ऐसे में गर्भावस्था के दौरान फूलगोभी का सेवन करने से हृदय संबंधी रोग और लिवर व मांसपेशियों से जुड़ी परेशानियों से बचा जा सकता है(3)(12)
  • उच्च रक्तचाप:गर्भावस्था के कारण रक्तचाप में वृद्धि हो सकती है। ऐसे में रक्तचाप को नियंत्रित करने के लिए फूलगोभी मदद कर सकती है। इसमें मौजूद विटामिन-सी उच्च रक्तचाप के खतरे से बचाने का काम कर सकता है(10)
  • गर्भपात के खतरे से बचाए:माना जाता है कि फूलगोभी का सेवन करने से गर्भपात से भी बचा जा सकता है। दरअसल, फूलगोभी में पाया जाने वाला विटामिन-सी गर्भपात के खतरे को कम करने में मदद कर सकता है(10)

गर्भावस्था में फूलगोभी के फायदे के साथ ही कुछ नुकसान भी हो सकते हैं, जिसके बारे में हम लेख में आगे बता रहे हैं।

गर्भावस्था के दौरान फूलगोभी खाने के साइड इफेक्ट

किसी भी खाद्य पदार्थ को जरूरत से ज्यादा खाने से उसके फायदे की जगह नुकसान भी हो सकते हैं। ऐसे ही कुछ नुकसान गर्भावस्था में फूलगोभी खाने के भी हो सकते हैं। कुछ आम दुष्प्रभावों के बारे में नीचे बताया जा रहा है।

  • फूलगोभी में कुछ मात्रा फाइबर की पाई जाती है। इसलिए, माना जाता है कि गर्भावस्था में इसका ज्यादा सेवन करने से गैस की समस्या हो सकती है(13)
  • फूलगोभी को अच्छे से धोकर ही पकाएं और सेवन करें, वरना इसकी वजह से फूड प्वाइजनिंग की परेशानी हो सकती है। सिर्फ फूलगोभी ही नहीं, बल्कि किसी भी सब्जी को बिना धोकर खाने से ऐसा हो सकता है(14)
  • फूलगोभी में मौजूद कीड़ों की वजह से टोक्सोप्लाज्मा संक्रमण भी हो सकता है, जिसकी वजह से गर्भावस्था में कई तरह की समस्याएं हो सकती हैं(15)
  • फूफूलगोभी में प्राकृतिक रूप से गोइट्रोगेनिक पदार्थ पाया जाता है, जिस कारण थायराइड होने का खतरा बढ़ सकता है। एक वैज्ञानिक रिसर्च में माना भी गया है कि जो हाइपोथायरायडिज्म से पीड़ित हो, उसे फूलगोभी का सेवन नहीं करना चाहिए(16)

अब फूलगोभी को आहार में शामिल करने के कुछ तरीकों के बारे में जान लेते हैं।

फूलगोभी को अपने आहार में कैसे शामिल करें?

गर्भावस्था के दौरान फूलगोभी खाना स्वास्थ्य के लिए अच्छा माना जाता है। गर्भवती महिलाएं विभिन्न तरीकों से अपने आहार में इसे शामिल कर सकती हैं। बस उपयोग से पहले इसे अच्छे से धोएं और उबालें जरूर। इसे सेवन करने के उदाहरण कुछ इस प्रकार हैं(17):

  • सबसे पहले तो इसकी सब्जी बनाकर इसे आहार में शामिल किया जा सकता है।
  • इसेअच्छीतरहमैशकरकेमहीनफूलगोभीमैशबनाकरखासकते हैं।
  • इसे उबालने के बाद ऊपर से नमक व मसाले छिड़ककर दोपहर या रात के खाने के साथ बतौर सलाद खाया जा सकता है।
  • उबली हुए या हल्की तली हुई फूलगोभी को मंचूरियन के रूप में भी उपयोग में लाया जा सकता है।
  • इसका सूप बनाकर पी सकते हैं।
  • चावलों में फूलगोभी डालकर कॉलीफ्लॉवर राइस बनाकर भी खाया जा सकता है।

फूलगोभी का सेवन करते समय और करने से पहले कुछ सावधानियां बरतनी भी जरूरी हैं। चलिए, जानते हैं कुछ सावधानियों के बारे में।

फूलगोभी का सेवन करते समय बरती जाने वाली सावधानियां

गर्भावस्था के दौरान फूलगोभी को खाने से पहले कुछ बातों को ध्यान में रखा जाना चाहिए।

  • सबसे पहले फूलगोभी को अच्छे से धोएं। दरअसल, इसमें कीड़े होने की आशंका सबसे ज्यादा होती है।
  • कई बार कीड़े सिर्फ धोने पर नहीं जाते, इसलिए इसे पकाने से पहले उबाल लेना चाहिए।
  • उबालते समय थोड़ा नमक डाल लेना अच्छा माना जाता है। यह फूलगोभी को उगाते समय उपयोग में लाए गए रसायन के असर को खत्म करने में मदद कर सकता है। इसके साथ ही फूलगोभी की गंदगी और कीड़े नष्ट हो जाते हैं।
  • अगर फूलगोभी में किसी तरह का भूरापन नजर आए, तो उस हिस्से को काटकर निकाल लें।

इस लेख से यह तो स्पष्ट हो गया है कि गर्भावस्था में फूलगोभी आपके स्वास्थ्य और गर्भस्थ शिशु के विकास के लिए ठीक है। इसलिए, गर्भवती महिला अपने आहार में फूलगोभी को शामिल कर सकती हैं। साथ ही ध्यान रखें कि इसके अधिक सेवन से कुछ नुकसान भी हो सकते हैं, इसलिए फायदे और नुकसान दोनों को ध्यान में रखकर इसका सेवन सीमित मात्रा में ही करें। अगर लेख पढ़ने के बाद भी गर्भावस्था के दौरान फूलगोभी खाने को लेकर कुछ सवाल आपके मन में हो, तो इसके लिए अपने डॉक्टर से कंसल्ट करें। हम उम्मीद करते हैं कि इस लेख में बताई गई सभी जानकारियां आपके काम आएगी। यह लेख पसंद आया हो, तो इसे अपने परिवार और दोस्तों के साथ साझा करना न भूलें।

References:

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1.Healthy Eating during Pregnancy and Breast FeedingBy WHO
2.Macro Nutrient and Micro nutrient during PregnancyBy NCBI
3.Cauliflower, RawBy USDA
4.Eating for a Healthy PregnancyBy CDHD
5.Food in PregnancyBy NCBI
6.Folic Acid: Prevent Birth defectBy NewYork State Department of Health
7.Preventing Birth defectBy DHEC
8.The Comparative Study of Masanumasik AaharaBy International Journal of Current Research
9.Daily Amounts During PregnancyBy MO.gov – Official Missouri State Website
10.Maternal Health And NutritionBy MO.gov – Official Missouri State Website
11.Proper Nutrition during PregnancyBy State of Israel Ministry of Health
12.CholineBy NCBI
13.Eating During PregnancyBy Kids health
14.Fruit And Vegetable SafetyBy CDC
15.Congenital toxoplasmosis: Clinical features, outcomes, treatment, and preventionBy NCBI
16.Various Possible Toxicants Involved in Thyroid Dysfunction: A ReviewBy NCBI
17.CauliflowerBy New Jersey Department Of Agriculture

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